Description
गुरु तेग बहादुर साहिब ने संसार को आनंद की ऐसी भावना दी जो अमिट है। सोचा भी नहीं गया था कि सहज, संयम और विश्वास ऐसा फलीभूत होता है। गुरु साहिब के जीवन ने जहां लाखों लोगों का उद्धार किया, उनके बलिदान ने करोड़ों लोगों को स्वाभिमान और सम्मान की खुली सांसें दीं। आने वाली पीढ़ियां शाप मुक्त हो गईं।
गुरु तेग बहादुर साहिब के जीवन और उपदेशों को शब्दों में उतारना संभव नहीं है। जितना उनके निकट जाते जाएं शब्द उतने ही कम पड़ते जाएंगे। वे धर्म का बल हैं और निर्भय धर्म हैं। ये दो सूत्र ही उनका परिचय हें किंतु इनका विस्तार अनंत है, अनंत है। उनकी महिमा अनंत है। गुरु तेग बहादुर साहिब का अवतार पुनः नहीं हो सकता। वे मानव समाज को, इस राष्ट्र को इतना दे गए हैं कि उसके फल हमें तब तक मिलते रहेंगे, जब तक यह सृष्टि रहेगी। गुरु तेग बहादुर जी की महिमा का सदैव गुणगान होता रहेगा। आइए उनके जीवन और वाणी में प्रकाशित हो रही परमात्मा की मेहर का दर्शन करें। उनके अंतर के जोरावर को नमन करें। उनके निकट ही होने की सुहावी अनुभूति करें। प्रस्तुत पुस्तक देश के शीश : गुरु तेग बहादुर उनके मार्ग पर चलने का एक प्रयास है।
-सुहद संवाद से