Description
सआदत हसन मंटो
जन्म: 11 मई, 1912
जन्म स्थान: समराला, जिला लुधियाना
संतान: निगहत, नुजहत और नुसरत
शिक्षा: अमृतसर और अलीगढ़ में (मैट्रिक पास किया अमृतसर में)
आवास: अमृतसर, अलीगढ़, लाहौर, दिल्ली और बंबई
निधन: 18 जनवरी, 1955 (लाहौर में मियां साहब कब्रिस्तान में दफनाया गया)
पहली कहानी: ‘आशा’
आखिरी कहानी: ‘कबूतर और कबूतरी’
जिन कहानियों पर मुकदमे चले: ‘काली सलवार’, ‘धुआं’, ‘बू’, ‘खोल दो’, ‘ठंडा गोश्त’, ‘ऊपर, नीचे और दरम्यान’
अफसानों का पहला संकलन: ‘मंटो के अफसाने’ है, जो 1938 में छपा
रचनाएं: ‘मंटो के अफसाने’, ‘चुग़द’, ‘यज़ीद’, ‘नमरूद की खुदाई’, ‘खाली बोतलें’, ‘खाली डिब्बे’, ‘सड़क के किनारे’, ‘बादशाहत का खातिमा’, ‘बुरके’, ‘मंटो के मज़ामीन’, ‘जनाज़े’, ‘करवट’, ‘नूरजहां सरवर जान’, ‘वीरा’ (अनुवाद), ‘मंटो के ड्रामे’, ‘धुआं’, ‘लज़्ज़ते-संग’, ‘ठंडा गोश्त’, ‘स्याह हाशिए’, ‘ऊपर, नीचे और दरम्यान’, ‘फुंदने’, ‘शिकारी औरतें’, ‘आओ’ (रेडियो एकांकी), ‘तीन औरतें’, ‘इस्मत चुगताई’, ‘गोर्की के अफसाने’ (अनुवाद), ‘आतिशपारे, ‘सरकंडों के पीछे’, ‘बगैर इजाज़त’, ‘रत्ती, माशा और तोला’, ‘अनारकली’, ‘एक मर्द’, ‘परदे के पीछे’, ‘शादी’, ‘लाउडस्पीकर’, ‘ताहिरा से ताहिरा’, ‘गंजे फरिश्ते’, ‘करवट’ (नाटक)