प्रत्येक उम्र के शिशु और बच्चों के आहार की जानकारियाँ भी विस्तार से विभिन्न तालिकाओं और चित्रों सहित पुस्तक में दी गई हैं। क्योंकि हमारे यहां पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चों की मृत्युओं का एक बड़ा कारण कुपोषण भी है, अतः सभी कुपोषणजन्य रोगों का वर्णन और उनसे बचाव के तरीके भी बतलाए गए हैं। बच्चों में कुपोषण का एक बड़ा कारण कृमिरोग भी है, इसलिए इस रोग की चर्चा भी विस्तार से की गई है। इसके अलावा स्त्रियों एवं अन्य वयस्कों में कुपोषण का एक प्रमुख कारण मिलावटी खाद्य पदार्थ भी हैं, अतः एक अलग अध्याय में मिलावब् और उससे बचने के उपाय बतलाए गए हैं।
पोषण विज्ञान ओर चिकित्साशास्त्र पर लिखित यह किताब कुल मिलाकर एक प्रामाणिक जानकारी देने वाली निर्देशिका है, जो आपको हर वक्त काम देगी।
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संतुलित आहार और कुपोषणजन्य बीमारियाँ / Santulit Aahaar Aur Kuposhanjany Beemariyan
₹150.00 ₹127.50
ISBN: 978-81-89982-19-5
Edition: 2013
Pages: 108
Language: Hindi
Format: Hardback
Author : Dr. Prem Chandra Swarnkar
Category: Health